[6:43 pm, 17/03/2021] Bansi Lal: हमें अपने किरदार पे इतना तो यकीन है,
कोई हमें छोड़ तो सकता है मगर भूला नहीं सकता
[6:44 pm, 17/03/2021] Bansi Lal: जो ख़ानदानी रईस हैं वो मिज़ाज रखते हैं नरम अपना
तुम्हारा लहजा बता रहा है तुम्हारी दौलत नई - नई है
[6:46 pm, 17/03/2021] Bansi Lal: End of the day,
attitude matters.
[6:46 pm, 17/03/2021] Bansi Lal: चुप्पियाँ बढ़ती जा रही हैं
उन सारी जगहों पर
जहाँ बोलना ज़रूरी था
[6:48 pm, 17/03/2021] Bansi Lal: A person hears only what they understand.
[6:49 pm, 17/03/2021] Bansi Lal: कह दी जाती जिससे हर बात यूँ बातों बातों में
बड़ी कठिनाई से मिलता है वो इक शख़्स कई लाखों में
No comments:
Post a Comment